नवरात्रि
Navratri
का पहला दिन, माँ शैलपुत्री
Shailputri
को समर्पित है
पर्वतराज हिमालय के घर
माँ शैलपुत्री
पुत्री के रूप में उत्पन्न हुईं थीं
शैल शब्द का अर्थ होता है "
पहाड़
” इसलिए इसलिए इनका नाम शैलपुत्री पड़ा
माँ शैलपुत्री बैल पर सवारी करती हैं
जो सम्पूर्ण हिमालय पर राज करती हैं
माँ के दायें हाथ में एक त्रिशूल बाएँ हाथ में एक कमल का फूल विराजमान है
वह
शिवजी
की अर्धांगिनी बनी माता को लाल पुष्प बेहद पसंद हैं
शुभ नवरात्रि के पहले दिन माता
शैलपुत्री की उपासना
का विशेष विधान है
खासकर
महिलाओं को अखंड सौभाग्य का वरदान
देती हैं माँ शैलपुत्री
माँ शैलपुत्री
Shailputri
को
माता दुर्गा
का ही एक अवतार हैं
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