एक कमरे के घर से देश के दूसरे सबसे धनी इंसान बनने तक के सफ़र में दमानी

ने कोई शॉर्टकट रास्ता नहीं चुना| बल्कि समझकर, देखकर अवसर को पहचाने और

फिर दांव खेला| शेयर मार्केट में मंझे खिलाड़ी भी इनका लोहा मानते रहे है

राधाकिशन दमानी को मिस्टरवाइट कहा जाता है शख्सियत सेभी और बिज़नेस में भी

इनके जीवन में सफलता का सूत्र बस एक है - रुको, समझो और फिर आगे कदम बढ़ाओ

1956में जन्मे दमानी का परिवार मुंबईमें 1 कमरे के फ्लैट में रहा करता था

मुंबई में बीकॉम करते हुए दमानी को पहलेही साल कॉलेज भी छोड़ देना पड़ा था 

जब देश कोरोना से जूझ रहा था तब दमानी न सिर्फ अपना बिज़नेस बढ़ा रहे थे

बल्कि इन्होने PM Fund में 100 करोड़ रुपये दान मेंभी दे दिया था